उज्जैन || हर साल की तरह इस बार भी मध्यप्रदेश के उज्जैन जिले की बड़नगर तहसील में आने वाले गांवो में गौरी पूजन किया गया। जिसमें गायों की पूजा के बाद मन्नत करने वाले ग्रामीण जमीन पर लेटे और उनके ऊपर से गायें गुजरीं। यहाँ परंपरा सालो से भिड़ावाद, लुहारीय और रावदिया गांवों में चली आ रही इस परंपरा के पीछे मान्यता है कि ऐसा करने से खुशहाली आती है। मन्नत पूरी होती है।
वहीं, हरदा जिले में पशुओं को घर की दहलीज पर आग के ऊपर से निकाला गया। ग्रामीणों का कहना है कि ऐसा करने से पशुओं को सालभर कोई बीमारी नहीं होती। वे स्वस्थ रहते हैं। उधर, बड़वानी में दशहरा मैदान पर पाड़ों के दंगल कराया गया।
उज्जैन के बड़नगर में सुबह सबसे पहले गायों को स्नान कराया गया। फिर उन्हें सजाकर चौक पर लाया गया। मन्नत मांगने वाले लोगों का जुलूस निकाला गया। जुलूस खत्म होने के बाद गांव के मुख्य मार्ग पर उपवास रखने वाले लोगों को मुंह के बल जमीन पर लेटाया गया। उसके बाद गायों को छोड़ा गया। गायें दौड़ते हुए जमीन पर लेटे ग्रामीणों के ऊपर से गुजरीं।
परंपरा अनुसार दीपावली के पांच दिन पहले सभी उपवास रखने वाले गांव के युवकों ने ग्यारस के दिन अपना घर छोड़ दिया था। सभी गांव के माता भवानी के मंदिर में आकर रहने लग गए थे।


